आरती हनुमान जी की (2023)
आरती हनुमान जी की : आरती कीजै हनुमान लला की। दुष्ट दलन रघुनाथ कला की॥ जाके बल से गिरिवर कांपे। रोग दोष जाके निकट न झांके॥ अंजनि पुत्र महा बलदाई। संतन के प्रभु सदा सहाई॥ दे बीरा रघुनाथ पठाये। लंका जारि सिया सुधि लाये॥ लंका सो कोट समुंद्र सी खाये। जात पवनसुत बार न लाये॥ …